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निर्भया मामला: दोषियों के सभी विकल्प खत्म, आज फिर जारी हो सकता है नया डेथ वारंट

नई दिल्लीः साल 2012 के निर्भया गैंगेरेप और मर्डर मामले के दोषियों के बचने के सारे विकल्प खत्म हो गए हैं। बुधवार को आखिरी बची दया याचिका भी राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद द्वारा खारिज कर दी गई जिसके बाद अब दिल्ली सरकार ने मामले के चारों दोषियों की फांसी के लिए नई तारीख जारी करने का अनुरोध करते हुए दिल्ली पटियाला हाउस कोर्ट का रुख किया है। पटिलाया हाउस कोर्ट आज निर्भया के दोषियों को फांसी देने के लिए नया डेथ वारंट जारी कर सकती है। बता दें कि दिल्ली जेल मैनुअल के मुताबिक मौत की सजा का सामना कर रहे किसी दोषी की दया याचिका खारिज होने के बाद उसे फांसी देने से पहले 14 दिन का समय दिया जाता है।

निर्भया के सभी चारों दोषियों को एकसाथ फांसी दी जानी है। बुधवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 25 साल के दोषी पवन कुमार गुप्ता की दया याचिका खारिज कर दी है। पवन कुमार गुप्ता इस मामले के चार दोषियों में से एक है। दिल्ली सरकार ने अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश धर्मेंद्र राणा को बताया कि दोषियों के सभी कानूनी विकल्प खत्म हो गए हैं और अब कोई विकल्प नहीं बचा है। इसके बाद न्यायाधीश ने दोषियों को निर्देश दिया कि वे अपना जवाब गुरुवार तक दायर करें जबकि अभियोजन पक्ष के वकील ने कहा कि किसी नोटिस की जरूरत नहीं है।

वहीं, अदालत ने नोटिस जारी करते हुए कहा कि नैचुलर जस्टिस (Natural justice) का सिद्धांत संविधान के अनुच्छेद 21 (जीवन का अधिकार एवं व्यक्तिगत स्वतंत्रता) का हिस्सा है और दूसरे पक्ष को सुने जाने को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। बता दें कि इससे पहले निर्भया के दोषियों की तीन बार फांसी टल चुकी है क्योंकि दोषी अपने कानूनी विकल्पों का इस्तेमाल कर रहे थे।

मुकेश, विनय और अक्षय की दया याचिका राष्ट्रपति पहले ही खारिज कर चुके हैं। निर्भया से 16 दिसंबर, 2012 को दक्षिणी दिल्ली में एक चलती बस में गैंगरेप के साथ ही उस पर बर्बरता से हमला किया गया था। निर्भया की बाद में सिंगापुर के माउंट एलिजाबेथ अस्पताल में मौत हो गई थी। दिल्ली की एक अदालत ने 13 सितंबर 2013 को चारों दोषियों को मौत की सजा सुनाई थी। उसके बाद से इस मामले में कई मोड़ आए।