
खेत के मालिकों की हरकत से शर्मसार हुई मानवता, कैमरा देख ग्वाले को खोला

रामगढ़ : इंसान कब हैवान का रूप ले ले यह तो कोई नहीं जानता। लेकिन उसकी हरकतों से जब मानवता शर्मसार होती है तो ऐसा लगता है कि धरती पर मनुष्य का कोई मूल्य नहीं बचा। ऐसे ही एक शर्मसार कर देने वाली घटना बुधवार को रामगढ़ शहर के बाजार टांड़ सिद्धू कान्हु मैदान के समीप हुई। यहां एक दुकान में खेत के मालिकों ने एक ग्वाले को सिर्फ इसलिए खंभे से बांधकर सजा दी, क्योंकि उसकी भैंस ने फसल खा ली थी। बेचारा ग्वाल तब तक गिड़गिड़ाता रहा जब तक की उसे खोल नहीं दिया गया। उसकी सजा इस लिए खत्म हो गई क्योंकि वहाँ रांची एक्सप्रेस अखबार के संवाददाता पहुंच गए।

चोरों की तरह खंभे से लिपटे घंटे खड़े रहे रघु यादव
तस्वीर में आप देख रहे हैं कि एक अधेड़ उम्र का व्यक्ति खंभे से चोरों की तरह बांधा गया है। ऐसा लग रहा है शायद उसने किसी गंभीर अपराध को अंजाम दिया है और नागरिकों ने उसे पड़कर रखा है। खंभे से बंधा वह व्यक्ति रघु यादव की गलती सिर्फ यह है कि वह अपनी भैंस को चराने के लिए बाहर लेकर गया था। इसी दौरान उसकी भैंस एक खेत में घुस गई और उसने कुछ फसल खा लिए। बेजुबान जानवर की इस हरकत को देखकर खेत के मालिकों ने ग्वाले को ही सजा देना बेहतर समझा। ग्वाले को चोरों की तरह पकड़ कर वहां लाया गया और फिर उसे खंबे में बांध दिया गया। इस हालत में रघु यादव कई घंटे तक खड़े रहे और वह लगातार गिड़गिड़ा कर खोलने की विनती करते रहे। खेत के मालिकों का कहना था कि जितनी फसल भैंस ने खाई है उसका पूरा हर्जाना भरने के बाद ही उसे खोला जाएगा। अगर वह हर्जाना नहीं देता है तो वह ऐसे ही खंभे से बंधा रहेगा।
मीडिया के पहुंचते ही मच गई खलबली
इस घटना की सूचना मिलने पर रांची एक्सप्रेस के संवाददाता जब मौका-ए-वारदात पर पहुंचे तो वहां खलबली मच गई। एक महिला ने तस्वीर लेने से भी मना किया। साथ ही कुछ नहीं बताने की बात भी कही। लेकिन जब संवाददाता ने तस्वीर लेनी शुरू की तो उन लोगों ने अपनी गलती को छुपाने के लिए पहले तो उस अधेड़ व्यक्ति के सामने खड़े होने का प्रयास किया। इसके बाद कुछ युवकों ने खंभे से बंधे रघु यादव को खोलने की कोशिश की।
खुलने के बाद पीड़ित व्यक्ति ने लिया अरुण का नाम
मीडिया वालों की मौजूदगी में रघु यादव मुक्त हुआ तो उसने अपनी आपबीती भी बताई। उसने कहा कि उसकी भैंस खेत में घुस गई थी। इसी वजह से खेत मालिक आग बबूला हो गया था। उसने अपने परिवार के अन्य लोगों के साथ मिलकर उसे खंबे से बांध दिया था। लगभग 2 घंटे तक वह वैसे ही खड़ा रहा। वे लोग लगातार उसे हर्जाने की मांग कर रहे थे।
ना पुलिस का डर, ना प्रशासन का भय, ऑन द स्पॉट फैसले की थी तैयारी l
बाजार टांड़ रामगढ़ शहर का सबसे अधिक भीड़ भाड़ वाला इलाका है। यहां लगने वाले बाजार में हजारों लोग आते हैं। इसके अलावा सारे वीआईपी अधिकारी भी इसी रास्ते से होकर रामगढ़ शहर पहुंचते हैं। सिद्धू कान्हु स्टेडियम अपने आप में एक बड़ा लैंडमार्क है। इसके बावजूद वहां जिस तरीके से रघु यादव को सजा देने की कोशिश की गयी , इससे यह साफ है कि उसके अंदर ना तो पुलिस का डर था और ना ही प्रशासन का भय। वह ऑन द स्पॉट फैसला करने की तैयारी में था। उस वीआईपी रोड पर एक अधेड़ उम्र के व्यक्ति को खंबे से बांध देना उसकी हैवानित भरी मानसिकता का परिचायक है।